#Navratri #Durga_Puja : देश दुनिया में...
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माँ दुर्गा जी की स्तुति-
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सनातन धर्म और हिन्दुओं को ही बार-बार क्यों टारगेट किया जाता है ?
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सनातन धर्म और हिन्दुओं को ही बार-बार क्यों टारगेट किया जाता है ?
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खेड़ा (गुजरात) में नवरात्रि गरबा महोत्सव में अचानक मुश्लमान घुस गयेऔर पथराव किया गरबा खेलती बालिकाओं बहन बेटियो को अभद्र गालियां देकर गरबा रुकवाने लगे आज गुजरात पुलिस उनके घरमे घुस घुस कर एक एक को पकड़ पकड़ कर सरे आम ला ला कर डांडिया राश करवाया😂
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हिंगलाज माता के मंदिर को जाते हुए पाकिस्तान के बचे खुचे हिंदू भक्तगण...मां भगवती रक्षा करना इन लोगों का....😢🙏
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आनंद के लिए किसी चीज़ की आवश्यकता नहीं होती...
इन बच्चों की आस्था देख यह कहा जा सकता है, कि आपको अपनी आनंद के लिए किसी चीज़ की आवश्यकता नहीं होती। #Navratri #Durgapuja2022 🛕🚩
सनातन संस्कृति–मेरे भारत की पवित्र भूमि पर जन्मी है. हिमालय से लेकर सागर तक. इसलिए हम सब भारतीयों की जिम्मेदारी है कि सनातन संस्कृति उद्घोष, इसका प्रचार पूरे विश्व में, पूरी जागृत अवस्था के साथ स्वयं अपनाएं व मानव कल्याण के लिए इसके प्रचार-प्रसार में जुटना चाहिए.
“पूरे भारत ही नहीं, पूरे विश्व के मानव समाज को मैं अनुरोध करना चाहती हूँ कि वो आये और संघ के कार्यकलापों को देखे। यह शोभनीय है, एवं प्रेरित करने वाला है...” -पद्मश्री सन्तोष यादव, RSS मुख्यालय के दशहरा कार्यक्रम की मुख्य अतिथि (5 अक्टूबर 2022, नागपुर)
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ (RSS) की स्थापना के बाद से हर साल नागपुर में दशहरे पर कार्यक्रम का आयोजन किया जाता है। साल 1925 के बाद इस कार्यक्रम में कोई पुरुष मुख्य अतिथि के तौर पर शिरकत करता आया है। लेकिन पहली बार इस प्रोग्राम में संघ किसी महिला को मुख्य अतिथि के रूप में आमंत्रित किया है। हालांकि 1936 में संघ ने अपनी महिला विंग राष्ट्र सेविका समिति की स्थापना की थी। उस वक्त लक्ष्मीबाई केलकर को बुलाया गया था।
राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) के दशहरा कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में इस वर्ष पर्वतारोही संतोष यादव शामिल हुईं। आरएसएस की स्थापना दिवस पर उन्होंने कहा कि लोग मेरे हाव-भाव देखकर पूछते थे कि क्या तुम संघी हो? इसका जवाब देते हुए मैं उन्हें कहती थी कि वो क्या होता है। आज किस्मत मुझे सर्वोच्च मंच पर लेकर आई है।
संतोष यादव ने एक किस्सा बताते हुए कहा कि एक बार जेएनयू में वह पर्यावरण पर बोल रही थीं। तभी एक छात्रा ने उनसे कहा कि हमें रामचरितमानस या गीता पढ़ने के लिए क्यों कहा जाता है। मैंने उन्हें कहा कि ऐसा तो मैंने नहीं कहा है। फिर मैंने उन्हें कहा कि आपने इन पुस्तकों को पढ़ा है? तो उन्होंने कहा कि नहीं। फिर मैंने उन्हें कहा कि बिना पढ़े आप इन पुस्तकों को लेकर द्वेष क्यों पाल रही हैं। आप इसे पढ़िए। सनातन संस्कृति सृजन की प्रेरणा देता है। आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत विजय दशमी समारोह में शामिल हुए। इस अवसर पर पर्वतारोही संतोष यादव, केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी और महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस उपस्थित रहे।
संतोष यादव पहली ऐसी महिला हैं, जिन्होंने दो बार माउंट एवरेस्ट की चढ़ाई की है। उन्होंने पहली बार मई 1992 और दूसरी बार मई 1993 में एवरेस्ट चोटी फतह की और ऐसा कर उन्होंने वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाया। इसके अलावा संतोष कांगसुंग की तरफ से माउंट एवरेस्ट पर सफलतापूर्वक चढ़ने वाली दुनिया की पहली महिला भी हैं। संतोष यादव का जन्म हरियाणा के रेवाणी जिले में साल 1968 में हुआ था। उनके इलाके में लड़कियों की पढ़ाई पर ज्यादा ध्यान नहीं दिया जाता था, लेकिन संतोष के परिवार ने उन्हें पढ़ाया और आगे की पढ़ाई के लिए उन्हें जयपुर भेजा, जहां महारानी कॉलेज से उन्होंने आगे की पढ़ाई की।
संतोष यादव को असाधारण काम के लिए साल 2000 में भारत सरकार ने चौथे सबसे बड़े नागरिक पुरस्कार पद्मश्री से सम्मानित किया था। संप्रति, संतोष यादव भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) में एक पुलिस अधिकारी के रूप में कार्यरत हैं। साथ ही उन्होंने उत्तरकाशी नेहरू माउंटीनियरिंग कॉलेज से ट्रेनिंग भी ली थी।
हर साल नागपुर में होता है दशहरा कार्यक्रम
आरएसएस की स्थापना के बाद से हर साल नागपुर में दशहरे पर कार्यक्रम का आयोजन होता है। साल 1925 के बाद इस कार्यक्रम में कोई पुरुष मुख्य अतिथि के रूप में सम्मिलित करता आया है, लेकिन पहली बार इसमें किसी महिला को मुख्य अतिथि बनाया गया है। हालांकि 1936 में संघ ने अपनी महिला विंग राष्ट्र सेविका समिति की स्थापना की थी।
गणमान्य व्यक्ति रह चुके हैं मुख्य अतिथि
आरएसएस अपने वार्षिक दशहरा कार्यक्रम में अलग-अलग क्षेत्र और राजनीतिक दलों के लोगों को बतौर मुख्य अतिथि बुलाता रहा है। हाल के दिनों में नोबेल पुरस्कार विजेता कैलाश सत्यार्थी, DRDO के पूर्व डायरेक्टर जनरल विजय सारस्वत, HCL चीफ शिव नाडर, नेपाल के पूर्व सैन्य प्रमुख रुक्मांगद कटवाल जैसे व्यक्ति संघ दशहरे पर होने वाले कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में बुला चुका है। रिपब्लिकन पार्टी ऑफ इंडिया के नेता और दलित नेता दादासाहेब रामकृष्ण सूर्यभान गवई, वामपंथी विचारों वाले कृष्णा अय्यर और वरिष्ठ पत्रकार आशुतोष जैसे नाम इस कड़ी में शामिल हो चुके हैं।
पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी का 2018 में संघ के इस कार्यक्रम में सम्मिलित होना बहुत चर्चा का विषय रहा। मुखर्जी राष्ट्रपति का पद छोड़ने के बाद संघ के इस कार्यक्रम में सम्मिलित हुए, लेकिन दिग्गज कांग्रेस नेता होने के कारण कार्यक्रम में सम्मिलित होने के उनके निर्णय पर उनकी ही पार्टी के लोग सवाल उठा रहे थे।
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