महाशिवरात्रि पर महाकाल की नगरी में 21 लाख दीप से होगी जगमग, उज्जैन पहुँची गिनीज वर्ल्ड रिकार्ड की टीम


महाशिवरात्रि से तीन-दिवसीय "शिव ज्योति अर्पणम महोत्सव"

मंदिरों, चौराहों, हर घर में दीप जलाने के लिए उत्साहित हैं उज्जैनवासी
शिव विवाह संदर्भ, शिव के अर्द्धनारीश्वर स्वरूप पर होंगे व्याख्यान
महादेव पर केन्द्रित नृत्य और संगीत पर होगा तीन दिवसीय कार्यक्रम
धर्म नगरी DN News 
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महाशिवरात्रि के पावन पर्व पर एक मार्च को भगवान महाकालेश्वर की नगरी उज्जैन में शिव ज्योति अर्पणम महोत्सव आयोजित होगा। महोत्सव में पुण्य सलिला माँ क्षिप्रा के विभिन्न घाटों, देवस्थानों, मंदिरों सहित उज्जैन नगर में घर-घर दीप प्रज्जवलित किए जाएंगे। शिव ज्योति अर्पणम महोत्सव में 21 लाख दीप प्रज्जवलित करने का लक्ष्य रखा गया है। 

महोत्सव के लिए राणौजी की छतरी पर बने स्टेज से मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान महोत्सव में सम्मिलित तथा रामघाट पर दीप प्रज्जवलित करेंगे। महाशिवरात्रि पर्व पर त्रिवेणी कला संग्रहालय उज्जैन में शिव सत्य की कला अभिव्यक्तियों पर केन्द्रित महादेव कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। एक मार्च महाशिवरात्रि से आरंभ यह कार्यक्रम तीन मार्च तक चलेगा। इसमें व्याख्यान के साथ शास्त्रीय एवं लोक नृत्य शैलियों में नृत्य नाटिका और समूह नृत्य प्रस्तुत किए जाएंगे। साथ ही भक्ति गायन, लोक गायन, चित्रांकन शिविर और प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी।

क्षिप्रा के घाटों पर 13 लाख दीप प्रज्जवलन 
महोत्सव के आयोजन को लेक उज्जैनवासी उत्साहित हैं। क्षिप्रा नदी पर स्थित घाटों पर 13 लाख दीप प्रज्जवलित करने की व्यवस्था की गई है। महोत्सव में क्षिप्रा नदी स्थित रामघाट, दत्त अखाड़ा, नरसिंह घाट, रविदास घाट, गुरूनानक घाट, सुनहरी घाट आदि पर दीप प्रज्जवलित किए जाएंगे। इसके अतिरिक्त महाकाल मंदिर, हरसिद्धि मंदिर, मंगलनाथ मंदिर, गोपाल मंदिर, काल भैरव, गढ़कालिका और सिद्ध वट पर भी दीप शोभायमान होंगे। टॉवर चौराहा, शहीद पार्क, क्षीरसागर और अन्य सार्वजनिक स्थलों पर जन-सहभागिता से बड़ी संख्या में दीप प्रज्जवलित करने की योजना है।

शहर के लोग अपने-अपने घरों में भी दीप जलाएंगे। इस पूरी व्यवस्था के लिए सेक्टर प्रभारियों को दायित्व सौंपा गया है। शिव ज्योति अर्पणम महोत्सव को गिनीज वर्ल्ड ऑफ रिकार्ड में दर्ज कराने के लिए बड़ी संख्या में स्वयंसेवी जुटे हैं। स्वयंसेवी संस्थाएँ, सामाजिक संगठन, धार्मिक संस्थान, खिलाड़ी, व्यापारी, विद्यार्थी और अखाड़ों के संतगण भी अभियान में शामिल हैं। क्षिप्रा नदी के घाटों पर 13 लाख दीपों सहित मंदिरों, सार्वजनिक स्थलों, घरों में समग्र रूप से 21 लाख दीप प्रज्जवलित किए जाएंगे।

महोत्सव में घर-घर दीपोत्सव का आयोजन किया जाएगा। समस्त व्यावसायिक स्थलों और प्रतिष्ठानों पर आकर्षक विद्युत साज-सज्जा की जाएगी। उज्जैन शहर को भी सजाया जाएगा। 
मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के निर्देशन में उज्जैन में बड़े महोत्सव की तैयारी पूरी हो गई है। इस आयोजन का उद्देश्य उज्जैन को पर्यटन और आस्था के बड़े केंद्र के रूप में विकसित करने का है। इसके अंतर्गत क्षिप्रा नदी के घाटों, शहर के अलग-अलग सार्वजनिक स्थानों एवं घरों में जलाए जाएंगे। इन दीयों को जलाने के लिए 13 हजार से अधिक वालंटियर्स तैनात किए गए हैं। इन वालंटियर्स में अलग-अलग समाज, संस्था, जनप्रतिनिधि और विद्यार्थियों को सम्मिलित किया गया है।

"शिव ज्योति अर्पणम" कार्यक्रम के आयोजन के लिए कुल 6 सेक्टर में घाटों को बांटा गया है, जिनमें 130 सब सेक्टर होंगे। प्रत्येक सेक्टर में 100-100 वालंटियर्स तैनात होंगे। 100 वालंटियर्स से दो सुपरवाइजर कॉर्डिनेट करेंगे। 4 सेक्टर में एक कंट्रोल ऑफिसर होगा। इस तरह 24 कंट्रोल ऑफिसर और 200 से अधिक सुपरवाइजर इस आयोजन की मॉनिटरिंग करेंगे।

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पुण्य सलिला मां क्षिप्रा नदी के तटों पर दीप प्रज्जवलन के लिए सात सेक्टर बनाए गए हैं। घाट पर इतने दीप जलेंगे-
रामघाट पर 3 लाख 64 हजार 132, 
दत्त अखाड़ा पर 2 लाख 12 हजार 204, 
भूखी माता मंदिर में 2 लाख 21 हजार 482, 
नरसिंहघाट कर्क राजमंदिर पर 1 लाख 74 हजार 734, 
नरसिंहघाट पुल भूखी माता घाट पर एक लाख 69 हजार 328, 
धोबीघाट पर एक लाख 14 हजार 748 
सुनहरी घाट पर 50 हजार 280 दीप प्रज्जवलित किए जाएंगे। 

15 मिनट में 14 लाख दिए जलाने का बनेगा वर्ल्ड रिकॉर्ड !
आयोजन समिति के प्रबंधक जगदीश अग्रवाल के अनुसार, खंडवा, खरगोन, देवास, इंदौर व उज्जैन के अलग-अलग स्थानों से दीपक मंगवाए गए हैं। दीपक जलाने की स्टिक भी तैयार की जा रही है।उल्लेखनीय है, विश्व पर्यटन में उज्जैन को बढ़ावा देने आयोजित हो रहे इस महोत्सव पर शासन द्वारा लगभग 40 लाख रुपए खर्च किया जा रहा है। 15 हजार लीटर तेल इस आयोजन में खर्च होगा। 15 मिनट में 14 लाख दिए जलाने का वर्ल्ड रिकॉर्ड बनाने हेतु 15 मिनट में सारे दीए जलाए जलाने का प्रयास होगा। क्षिप्रा नदी के तटों पर शानदार लाइटिंग की जा रही है, जिससे यह आयोजन भव्य, आकर्षक और दिव्य बनाने की पूरा प्रयास है।

एक स्वयंसेवक पर 100 दीयों का दायित्व-
तेरह लाख मिट्टी के दीयों के प्रज्जवलन में 13 हजार स्वयंसेवकों की भागीदारी रहेगी, जिसका पर्यवेक्षण 200 पर्यवेक्षक करेंगे। इस आयोजन के लिए 6 समितियों का गठन किया गया है। प्रत्येक 100 दीयों के प्रज्जवलन का दायित्व एक स्वयंसेवक पर होगा। प्रत्येक ब्लॉक में 200 दीपक होंगे, प्रत्येक उप क्षेत्र में 10 हजार ब्लॉक होंगे। कार्यक्रम के लिए बड़ी संख्या में स्वयंसेवकों ने पंजीयन कराया है।

'जीरो वेस्ट' को लक्ष्य बनाकर होगा कार्यक्रम-
एक साथ 21 लाख दीप प्रज्जवलित करने के इस महोत्सव को रिकार्ड के रूप में दर्ज करने गिनीज वर्ल्ड रिकार्ड की टीम उज्जैन पहुँच गई है। इतनी विशाल संख्या में दीप प्रज्जवलित करने इस कार्यक्रम को स्वच्छता और पर्यावरण की दृष्टि से पूरी संवेदनशीलता के साथ क्रियान्वित किया जाएगा। प्रयास है, कि कार्यक्रम जीरो वेस्ट स्वरूप में हो। महोत्सव में ऐसी सामग्री का उपयोग किया जा रहा है, जिसकी रिसाइक्लिंग संभव होगी।

उज्जैन, उड़ीसा, केरल के कलाकार देंगे सांस्कृतिक प्रस्तुतियाँ
महाशिवरात्रि पर्व पर त्रिवेणी कला संग्रहालय उज्जैन में महादेव-शिव सत्य की कला अभिव्यक्तियाँ में व्याख्यान, नृत्य, संगीत और चित्रांकन पर केन्द्रित तीन दिवसीय कार्यक्रम होगा।  

कार्यक्रम-
एक मार्च (मंगलवार)- 
"अर्द्धनारीश्वर स्वरूप तथा महिमा" पर उज्जैन के डॉ. बालकृष्ण शर्मा का व्याख्यान,
भुवनेश्वर के गुरू अतसी मिश्रा एवं समूह द्वारा शास्त्रीय एवं लोकनृत्य शैलियों पर केन्द्रित "कल्याण सुन्दरम् नृत्य नाटिका" की प्रस्तुति,
उज्जैन के नितिन अखंड एवं साथी भक्ति गायन में शिव महिमा प्रस्तुत करेंगे। 

दो मार्च (बुधवार)-
"उज्जयिनी महाकाल और काल गणना की नगरी" पर उज्जैन के आनंद शंकर व्यास का व्याख्यान,
कन्नूर केरल की डॉ. लता इडावलत के निर्देशन में शास्त्रीय नृत्य शैलियों में "अर्द्धनारीश्वर समूह नृत्य" की प्रस्तुति होगी। 
"लोक गायन स्वरूप में शिव महिमा" की उज्जैन के डॉ. राजुल सिंधी तथा साथी द्वारा प्रस्तुति।
 
तीन मार्च (गुरुवार)-
"शिव विवाह संदर्भ : दर्शन तथा प्रदर्शन'' विषय पर मनोज श्रीवास्तव (पूर्व ACS, मप्र सरकार) का व्याख्यान,
माच शैली में "शिव बारात" की उज्जैन की सुश्री कृष्णा वर्मा एवं साथी द्वारा प्रस्तुति,
"शिव आनंद तांडव नृत्य नाटिका" की उज्जैन की डॉ. खुशबू पांचाल एवं साथियों द्वारा 
 प्रस्तुति,
शासकीय ललित कला संस्थान इंदौर के कलाकारों द्वारा चित्रांकन शिविर और प्रदर्शनी भी लगाई जाएगी।

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